- राम मंदिर के प्रथम शिलान्यासकर्ता कामेश्वर चौपाल का निधन, अयोध्या में शोक की लहर
- शोक की लहर में डूबी रामनगरी, श्रद्धांजलि अर्पित
विजय कुमार पटेल : अयोध्या। राम मंदिर के निर्माण में ऐतिहासिक भूमिका निभाने वाले विश्व हिंदू परिषद (विहिप) के वरिष्ठ नेता कामेश्वर चौपाल का निधन हो गया। वे लंबे समय से बीमार थे और दिल्ली के गंगाराम अस्पताल में अंतिम सांस ली। उनके निधन से अयोध्या सहित पूरे देश में शोक की लहर दौड़ गई है।
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पहली ईंट रखने वाले ‘प्रथम कारसेवक’ थे चौपाल
बिहार के पटना निवासी कामेश्वर चौपाल को 9 नवंबर 1989 को राम मंदिर के प्रथम शिलान्यास समारोह में पहली ईंट रखने का गौरव प्राप्त हुआ था। यह क्षण ऐतिहासिक था, क्योंकि एक दलित समाज से आने वाले चौपाल को यह सम्मान दिया गया था, जिससे मंदिर आंदोलन को सर्वसमावेशी संदेश मिला। राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (RSS) ने उन्हें ‘प्रथम कारसेवक’ की उपाधि दी थी।
राम मंदिर ट्रस्ट ने जताया शोक
राम मंदिर ट्रस्ट के मीडिया सेंटर द्वारा दी गई जानकारी के अनुसार, चौपाल गुर्दे की बीमारी से पीड़ित थे और लंबे समय से उनका इलाज चल रहा था। उनके निधन पर ट्रस्ट के महासचिव चंपत राय, ट्रस्टी डॉ. अनिल मिश्र, कोषाध्यक्ष गोविंद देव गिरी, महंत दिनेंद्र दास, विमलेंद्र मोहन प्रताप मिश्र और गोपाल राव समेत कई प्रमुख संतों और संगठनों ने शोक व्यक्त किया।
श्रद्धांजलि और अंतिम संस्कार
कामेश्वर चौपाल के निधन की खबर सुनते ही अयोध्या और बिहार में शोक की लहर दौड़ गई। सोशल मीडिया पर भी श्रद्धांजलि संदेशों की बाढ़ आ गई है। मंदिर ट्रस्ट और संघ परिवार के नेताओं ने प्रभु श्रीराम से उनकी आत्मा की शांति और परिजनों को धैर्य प्रदान करने की प्रार्थना की है।
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