क्षण भर का गुस्सा दिल के लिए घातक नसों पर इसका असर 40 मिनट तक बना रहता है
शोधकर्ताओं ने अपने अध्ययन में बताया है कि, उदासी चिंता और गुस्सा सहित नकारात्मक भावनाएं,दिल के रोग का खतरा बढ़ा सकती हैं। शोध के निष्कर्ष से ज्ञात हुआ है कि चिंता, उदासी,और गुस्सा, रक्त वाहिकाओं के खुलने या फैलने की क्षमता को प्रभावित करते हुए, इसे कम करता है।
क्षण भर का गुस्सा,दिल के लिए घातक नसों पर, इसका असर 40 मिनट तक बना रहता है
उदासी चिंता और गुस्सा सहित नकारात्मक भावनाएं दिल के रोग का खतरा बढ़ा सकती हैं
चिंता उदासी और गुस्सा रक्त वाहिकाओं के खुलने या फैलने की क्षमता को प्रभावित करते हुए इसे कम करता है
“A moment’s anger, which is dangerous for the heart, has an effect on the nerves that lasts for 40 minutes.Vishva Bharti : Ayush Pandey : Lucknow : “क्षण भर का गुस्सा,दिल के लिए घातक नसों पर, इसका असर 40 मिनट तक बना रहता है शोधकर्ताओं ने अपने अध्ययन में बताया है कि, उदासी चिंता और गुस्सा सहित नकारात्मक भावनाएं,दिल के रोग का खतरा बढ़ा सकती हैं। शोध के निष्कर्ष से ज्ञात हुआ है कि चिंता, उदासी,और गुस्सा, रक्त वाहिकाओं के खुलने या फैलने की क्षमता को प्रभावित करते हुए, इसे कम करता है।
क्षण भर का गुस्सा,दिल के लिए घातक नसों पर, इसका असर 40 मिनट तक बना रहता है
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क्षण भर का गुस्सा अगर आपको बार-बार आता है,तो आप इस नए शोध से, इसे समझ सकते हैं,इससे आपकी रक्त वाहिकाएं, खराब होती हैं। केवल 8 मिनट का गुस्सा,आपकी नसों पर,40 मिनट तक प्रभाव डालता है। इससे आपके शरीर में,ऑक्सीजन पहुंचाने वाली रक्त वाहिकाओं को खुलने, या फैलने मे, रुकावट पैदा करती है।
कोलंबिया विश्वविद्यालय में, शोधकर्ताओं ने अपने शोध में,280 वयस्कों को सम्मिलित किया,और उनसे 8 मिनट तक के गुस्से, या उदासी की घटनाओं को,स्मरण करने के लिए कहा गया। अध्ययन में बताया गया है कि, उदासी,चिंता,और गुस्सा सहित नकारात्मक भावनाएं,दिल के रोग का जोखिम,बढ़ाने का कारण बन सकती हैं।
शोध में हुए अध्ययन के निष्कर्ष से ज्ञात हुआ कि चिंता, उदासी,या क्रोध,इसमें सम्मिलित प्रतिभागियों की रक्त वाहिकाओं के खुलने, या फैलने की क्षमता को प्रभावित करते हुए, इसे कम कर दिया है। जर्नल ऑफ अमेरिकन,हार्ट एसोसिएशन के छपे, नये शोध के अनुसार, शोधकर्ताओं ने बताया कि, लोगों में प्रतिदिन चिंता,उदासी, और गुस्सा जैसी नकारात्मक भावनाओं का महसूस करना,अब आम बात हो गई है।
गुस्सा उदासी और चिंता का प्रभाव,केवल 40 मिनट तक बना रहता है। लेकिन यदि आप बार-बार गुस्सा करते हैं, इससे आपकी धमनियों को अस्थाई रूप से, नुकसान पहुंच सकता है।अमेरिका मे वाशिंगटन स्थित, कोलंबिया यूनिवर्सिटी के, इरविंग मेडिकल सेंटर के,मेडिसिन के प्रोफेसर, डॉ. दाइची शिम्बो ने बताया कि, उन्होंने देखा कि, गुस्सा होने की स्थिति में,रक्त वाहिकाओं में,शिथिलता आने लगी।
शोधकर्ताओं को,उनके अध्ययन से ज्ञात हुआ कि,किसी व्यक्ति का मानसिक स्वास्थ्य, उसके हृदय रोग,एवं स्ट्रोक के जोखिम कारकों को, प्रभावित करने वाला हो सकता है। इस जोखिम से बचने के लिए, हर व्यक्ति को,अपनी उदासी, चिंता,और गुस्से पर,नियंत्रण करने की आवश्यकता है।
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